ग्राम समाचार, गोड्डा ब्यूरो रिपोर्ट। गोड्डा जिले के बोआरीजोर प्रखंड के त्रिस्तरीय पंचायत जनप्रतिनिधियों ने सोमवार को प्रखंड प्रमुख जसिंता हेंम्ब्रम के नेतृत्व में उपायुक्त से मुलाकात कर कई महत्वपूर्ण मांगों को लेकर आवेदन सौंपा।
प्रतिनिधिमंडल ने डीएमएफटी (DMFT) मद, भूमि संरक्षण, जिला कल्याण, लघु सिंचाई, स्वास्थ्य, समाज कल्याण, शिक्षा, पेयजल एवं स्वच्छता विभाग सहित ईसीएल के CSR मद में संचालित योजनाओं पर विस्तार से चर्चा की। जनप्रतिनिधियों ने मांग की कि डीएमएफटी फंड के तहत मिलने वाले आवंटन में पंचायतों को विशेष प्राथमिकता दी जाए तथा ग्रामसभा में पारित योजनाओं को ही कार्यान्वित किया जाए। उन्होंने कहा कि पंचायत जनप्रतिनिधियों को डीएमएफटी फंड का 25% आवंटन दिया जाता है, अतः इसका संचालन पंचायत स्तर पर जनप्रतिनिधियों की निगरानी में होना चाहिए। साथ ही, उन्होंने शिलापट्ट पर पंचायत जनप्रतिनिधियों के नाम अंकित करने, शिक्षा विभाग की योजनाओं में ग्रामसभा से पारित प्रस्तावों को वरीयता देने, और हर पंचायत में 10 चापाकल एवं 10 जलमीनार लगाने की जिम्मेदारी पंचायत प्रतिनिधियों को देने की मांग रखी।
प्रतिनिधियों ने यह भी कहा कि ईसीएल के CSR मद से प्रभावित क्षेत्रों में 25% राशि स्थानीय विकास पर खर्च की जाए, तथा आउटसोर्सिंग कंपनियों में 75% रोजगार प्रभावित पंचायतों के शिक्षित बेरोजगार युवाओं को मिले। इस मौके पर जिला पार्षद सदस्य दिनेश मुर्मू, अंजल सोरेन, भागो मरांडी, मंजू कुमारी, दिलीप टुडू, कुंदन मडैया समेत कई मुखिया समिति सदस्य उपस्थित थे।

0 comments:
एक टिप्पणी भेजें