कथा सुनाते कथावचक गिरिधारी लाल गोस्वामी महाराज |
ग्राम समाचार,फतेहपुर(जामताड़ा): जामताड़ा जिले के फतेहपुर प्रखंड के आंगुठिया गांव के काली मंदिर प्रांगण में सप्तदिवसिय श्रीमद्भागवत कथा के दूसरे रात्रि को नवद्वीप निवासी कथावचक गिरिधारी लाल गोस्वामी ने कथा वृत्तांत सुनाते हुए कहा कि चौरासी लाख जीवों में केवल मनुष्य जीव श्रेष्ठ है,क्योंकि ब्रह्मा जी के सभी जीवों के रचना के बाद केवल मानव जीव की रचना को देख कर भगवान प्रसन्न हुए थे। उन्होंने कहा कि केवल मानव योनि ही चिंतन मनन व मंथन करेगा। बाकी सभी जीवों पर सर्वश्रेष्ठ होने के कारण दया क्षमा आदि गुणों से परिपूर्ण रहेगा। यह विवेक से काम लेगा और भागवत कार्य में लगा रहेगा। इसलिए इस धरा में मनुष्य जीवन में जन्म लेने के लिए स्वर्ग के देवता भी लालायित रहते हैं।
भगवान श्रीकृष्ण ने तरह-तरह के लीलाओं को रच कर मनुष्य को यह बताने का काम किये हैं। जिससे समय-समय पर मनुष्य भगवान के कृत्यों को हृदयंगम करते हुए उसे क्रियान्वयन करे। लेकिन आज मनुष्य अपने रास्ते से भटकता जा रहा है। वह भूलता जा रहा है कि सर्वश्रेष्ठ जीव होने के बाद उसे किस तरह आचरण करना है। इसके लिए श्रीमद्भागवत कथा है। क्योंकि मनुष्य के सारे जिज्ञासाओं का उत्तर व समाधान भागवत कथा में निहित है। कथा के अंतराल में भक्ति गीतों पर श्रोतागण भाव विभोर होकर ताली वादन करते नजर आए। यह कथा आगामी और पांच दिनों तक चलेगा,जिसमे कथावचक गिरिधारी लाल गोस्वामी महाराज बंगला भाषा में श्रीकृष्ण के जन्म, बकासुर,कंस बध, रास आदि का वर्णन सुनाएंगे। कथा सुनने के लिए फतेहपुर व मसलिया प्रखंड के दर्जनों गांवों के लोग पहुंच रहे हैं।
रिपोर्ट👉केसरीनाथ यादव,ग्राम समाचार, फतेहपुर
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