ग्राम समाचार,बौंसी,बांका।
मंगलवार को बौंसी प्रखंड के एसवीपी विद्या विहार गुरुधाम बौंसी में ख्याति प्राप्त समाजसेवी शिक्षाविद एवं सर्वजन प्रिय स्वर्ग वृकोदर बाबू की 17 वीं पुण्यतिथि मनाई गई। विद्या क्षेत्र से विशेष प्रेम रखने वाले एवं अत्यंत नेक दिलवाले व्यक्ति वृकोदर बाबू मूलतः राजपुर बांका निवासी थे। विद्यालय सचिव शशिकांत विक्रम में प्रतिमा के समक्ष दीप प्रज्वलित कर प्राचार्य अंजनी कुमार सिंह, शिक्षक, शिक्षिकाओं एवं विद्यार्थियों ने पुष्पांजलि देकर उनको श्रद्धांजलि अर्पित की। शिक्षा क्षेत्र में जनहित के कल्याण हेतु उन्होंने संपूर्ण भारत के कई जिले में शिक्षण संस्थान की स्थापना की। इसी क्रम में एसकेपी विद्या विहार बांका, एसकेपी विद्या विहार भागलपुर, एसकेपी विद्या विहार देवघर जैसे शिक्षण संस्थान की स्थापना की। उनका सपना था कि, संपूर्ण समाज में विद्या का ऐसा दीप
प्रज्वलित हो, जो सदैव जगमगाता रहे। अतः उनके अधूरे सपनों को साकार करने हेतु उनके बड़े दामाद रणविजय प्रसाद सिंह एवं बड़ी बेटी शोभा सिंह ने एस एस विद्या विहार दुमका, एसबीपी विद्या विहार कटिहार एवं एसबीपी विद्या विहार गुरुधाम बौंसी बांका की स्थापना की। धर्म क्षेत्र में उनके ही नाम पर बासुकीनाथ में शिव भक्तों की सुविधा हेतु अत्यंत सुविधाजनक वृकोदर प्रेमलता धर्मशाला का निर्माण किया गया है। कई भाषाओं का ज्ञान रखने वाले वृकोदर बाबू "मैं विद्या विहार पहुने हमार देखो........... एवं पधारो पधारो" जैसी अनेक काव्यों की रचना की। गोड्डा, दुमका, देवघर, बांका, भागलपुर, मुंगेर, जमुई एवं अनेकों जिले के लोग उनके द्वारा रोजगार प्राप्त कर लाभान्वित हुए। उनके नाम पर चल रहा, एसबीपी विद्या विहार गुरुधाम बौंसी बांका बहुत ही अल्प समय में उनके आशीर्वाद से बांका जिले में प्रथम स्थान पर है। इसकी ख्याति संपूर्ण बिहार में हो रही है।
कुमार चंदन, ग्राम समाचार संवाददाता,बौंसी।
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