ग्राम समाचार, पथरगामा (गोड्डा)। होम्योपैथिक अनुसंधान परिषद नई दिल्ली के वैज्ञानिक सलाहकार बोर्ड ने कोरोना वायरस के संक्रमण की रोकथाम के उपाय और तरीका पर चर्चा की और आयुष मंत्रालय भारत सरकार ने एक एडवाइजरी जारी कर बताया कि आयुष चिकित्सा पद्धति से इस वायरस के संक्रमण से बचने की संभावना है।
उक्त बातें एक भेट वार्ता में डॉक्टर देवेश कुमार देवांशु एमडी राष्ट्रीय होम्योपैथिक संस्थान कोलकाता के पूर्व सीनियर रिसर्च फैलो एवं केंद्रीय होम्योपैथिक अनुसंधान परिषद नई दिल्ली सह असिस्टेंट प्रोफेसर राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल परसपानी ने कही।
देवांशु ने कहा कि होम्योपैथिक चिकित्सा पद्धति में रोगों का इलाज नहीं होता बल्कि रोगी का इलाज होता है।इस विद्या में रोगी के मानसिक शारीरिक और भावनात्मक लक्षणों के साथ-साथ उसके रोग के लक्षणों के अलावा मरीज का व्यक्तित्व और स्वभाव से जुड़े लक्षणों के आधार पर किया जाता है।इस पद्धति के कुछ दवाइयों का इस्तेमाल लक्षणों के आधार पर कोरोनावायरस के संक्रमण से बचाया जा सकता है।होम्योपैथिक दवाइयां जैसे आर्सेनिक एल्बम,कैंफर, कार्बोभेज,भिरेट्रम एल्बम, इंफ्लूजिनम इत्यादि।इस दवाओं का प्रयोग चिकित्सकों के सलाह पर की जा सकती है।
उन्होंने आगे कहा कि कोरोना वायरस का लक्षण है वही लक्षण इनफ्लुएंजा का भी है।इस तरह के लक्षण दिखाई पड़ने पर नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में जाकर डॉक्टर से सलाह लें।उन्होंने संक्रमण से बचने के लिए साफ-सफाई का विशेष तौर पर ध्यान रखने की सलाह दी तथा कहा कि शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता को बेहतर बनाने के लिए शुद्ध शाकाहारी और पौष्टिक आहार का सेवन करें।साथ धूप का सेवन करने और कपड़ों को धूप में सुखाने की सलाह दी।
उक्त बातें एक भेट वार्ता में डॉक्टर देवेश कुमार देवांशु एमडी राष्ट्रीय होम्योपैथिक संस्थान कोलकाता के पूर्व सीनियर रिसर्च फैलो एवं केंद्रीय होम्योपैथिक अनुसंधान परिषद नई दिल्ली सह असिस्टेंट प्रोफेसर राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल परसपानी ने कही।
देवांशु ने कहा कि होम्योपैथिक चिकित्सा पद्धति में रोगों का इलाज नहीं होता बल्कि रोगी का इलाज होता है।इस विद्या में रोगी के मानसिक शारीरिक और भावनात्मक लक्षणों के साथ-साथ उसके रोग के लक्षणों के अलावा मरीज का व्यक्तित्व और स्वभाव से जुड़े लक्षणों के आधार पर किया जाता है।इस पद्धति के कुछ दवाइयों का इस्तेमाल लक्षणों के आधार पर कोरोनावायरस के संक्रमण से बचाया जा सकता है।होम्योपैथिक दवाइयां जैसे आर्सेनिक एल्बम,कैंफर, कार्बोभेज,भिरेट्रम एल्बम, इंफ्लूजिनम इत्यादि।इस दवाओं का प्रयोग चिकित्सकों के सलाह पर की जा सकती है।
उन्होंने आगे कहा कि कोरोना वायरस का लक्षण है वही लक्षण इनफ्लुएंजा का भी है।इस तरह के लक्षण दिखाई पड़ने पर नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में जाकर डॉक्टर से सलाह लें।उन्होंने संक्रमण से बचने के लिए साफ-सफाई का विशेष तौर पर ध्यान रखने की सलाह दी तथा कहा कि शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता को बेहतर बनाने के लिए शुद्ध शाकाहारी और पौष्टिक आहार का सेवन करें।साथ धूप का सेवन करने और कपड़ों को धूप में सुखाने की सलाह दी।
- भुपेंद्र कुमार चौबे, ग्राम समाचार पथरगामा।
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